जिला मुख्यालयों पर पेंशनरों का धरना 27 को
लखनऊ,
प्रदेश के लाखों सेवानिवृत्त कर्मचारियों एवं पेंशनर्स के प्रतिनिधि संगठन सेवानिवृत्त कर्मचारी एवं पेंशनर्स एसोसिएशन उ0प्र0 के आवाह्न पर अपने वाजिब लम्बित मुद्दों पर सरकार का ध्यानाकर्षण कराने के लिये पेंशनर प्रदेश के समस्त जनपद मुख्यालयों पर 27 अक्टूबर को कोविड-19 के नियमों का पालन करते हुये धरना देंगे और मांगो का अनुस्मारक ज्ञापन
पदाधिकारियों ने क्षोभ एवं आक्रोश व्यक्त करते हुये कहा कि सरकार के स्तर पर उदासीनता का आलम यह है कि सरकार द्वारा स्वयं पेंशनर्स के मुद्दों पर विचार विमर्श और समाधान हेतु सरकार को परामर्श,सुझाव देने के लिये पेंशन सलाहकार समिति, अपर मुख्य सचिव, वित्त की अध्यक्षता में गठित की गई, जिसका एक सदस्य यह संगठन भी है, की बैठके शासनादेशानुसार नियमित रूप से प्रत्येक 03 माह में की जानी थी, परन्तु यह आश्चर्यजनक है कि दिनांक 22-12-2017 की बैठक के बाद अब तक इस कमेटी की कोई बैठक नहीं बुलाई गयी। संगठन के मांग-पत्र पर गत 17 दिसम्बर 2019 को जिला शाखाओं ने जिलाधिकारी के माध्यम से मुख्यमंत्री को मांग-पत्र का ज्ञापन भेजा था, पर कोई कार्यवाही नहीं हुई।
आन्दोलन को आगे बढ़ाने के अलावा कोई विकल्प नहीं बचा
दिनांक 27 नवम्बर 2020 को देश के हजारों पेंशनर्स ने दिल्ली के जंतर-मंतर पर एक दिवसीय धरना प्रदर्शन कर 25000 पेंशनरों के संयुक्त हस्ताक्षर युक्त याचिका ज्ञापन के साथ प्रधानमंत्री को सौंपा था। जिस पर भारत सरकार के कई मंत्रालयों द्वारा विभिन्न मुद्दों पर उ0प्र0 सरकार को पत्र लिखकर अग्रेतर कार्यवाही की अपेक्षा की गई पर प्रदेश शासन उस पर चुप्पी साध गया। अब आगे अपनी पीड़ा व्यक्त करने के लिये आन्दोलन को आगे बढ़ाने के अलावा कोई विकल्प नहीं बचा है।