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भाजपा ने पेगासस के जरिए जासूसी करने के विपक्ष के आरोपों को बेबुनियाद करार दिया

नयी दिल्ली, 

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने पेगासस स्पाईवेयर के जरिये जासूसी करने के विपक्ष के आरोपों को बेबुनियाद करार देते हुए कहा है कि भारत सरकार लोगों के डाटा सुरक्षा को लेकर संवेदनशील है और किसी भी कीमत पर उसके साथ समझौता नहीं किया जाएगा। गुरुवार को यहाँ एक संवाददाता सम्मेलन में केंद्रीय मंत्री और भाजपा की वरिष्ठ नेता मीनाक्षी लेखी ने कहा कि फोन टैपिंग का आरोप पूरी तरह झूठ है। उन्होंने कहा, “राज्यसभा में गुरुवार को सूचना प्रौद्योगिकी और संचार मंत्री अश्विनी वैष्णव के बयान देने के दौरान विपक्षी नेताओं द्वारा पृष्ठ फाड़ना शर्मनाक है।” श्रीमति लेखी ने कहा, “यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि तृणमूल कांग्रेस और कांग्रेस के सदस्य इतने नीचे गिर जाएंगे कि वे देश की प्रतिष्ठा को नुकसान पहुंचाने वाले काम करेंगे। पेगासस जासूसी मामला फर्जी खबर है। इससे देश की छवि खराब हुई है। आज सदन में विपक्ष के सदस्यों ने जवाब देते वक्त मंत्री के हाथ से कागज़ात छीन लिए, यह बेहद घटिया शर्मनाक हरकत है। इस तरह का व्यवहार ऐसा है जिसे लोकतंत्र ने कभी नहीं देखा है। हमने पहले देखा कि जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी संसद में मंत्रिपरिषद में शामिल नए सदस्यों का परिचय दे रहे थे तो उन्होंने खुद को कैसे संचालित किया।”

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उन्होंने कहा कि एमनेस्टी ने पहले ही फोन टैपिंग के शिकार व्यक्तियों की कथित इस सूची से पल्ला झाड़ा लिया है और इज़राइल की कंपनी एनएसओ भी अपनी बात रख चुका है। ऐसे में अब इस विरोध के जरिए सिर्फ भारत को बदनाम किया जा रहा है और लोकतंत्र के तमाम स्तंभो को बर्बाद करने की कवायद हो रही है। संसद को बाधित किया जा रहा है। पैगासस विवाद के जरिए जनता के मुद्दों को नजरअंदाज करने का प्रयास किया जा रहा है। गौरतलब है कि संसद के मानसून सत्र के पहले दिन से ही संसद के दोनों सदनों में पेगासस जासूसी मुद्दे पर कार्यवाही बाधित हो रही है। श्री वैष्णव आज राज्य सभा में जब अपना बयान दे रहे थे तब आसन के समक्ष आ कर हंगामा कर रहे तृणमूल कांग्रेस के कुछ सदस्यों ने चंद दस्तावेज फाड़े और हवा में उछाले।

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