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मानवाधिकार आयोग ने पहलगाम हमले की निंदा की

नयी दिल्ली।  राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग ने केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर के पहलगाम क्षेत्र में आतंकवादियों द्वारा 28 लोगों की हत्या की कड़ी आलोचना करते हुए उम्मीद जतायी है कि सरकार इस मामले में जवाबदेही तय करने के लिए सभी आवश्यक कदम उठाएगी , अपराधियों को न्याय के कठघरे में खड़ा किया जायेगा और पीड़ित परिवारों को हर संभव तरीके से सहायता प्रदान की जायेगी। आयोग ने शुक्रवार को एक वक्तव्य जारी कर कहा है कि वह पहलगाम में 22 अप्रैल को धर्म की पहचान के बाद 28 लोगों की हत्या किये जाने से व्यथित है। आयोग ने कहा है कि वह घाटी में छुट्टियां मनाने गए निहत्थे और बेखौफ निर्दोष नागरिकों पर किए गए कायरतापूर्ण हमले की निंदा करता है। इस घटना ने निर्दोष पीड़ितों और उनके परिवारों के मानवाधिकारों के उल्लंघन के लिए हर व्यक्ति की अंतरात्मा को झकझोर दिया है।

संगठन ने कहा है कि विभिन्न मंचों पर बार-बार कहा गया है कि आतंकवाद दुनिया में मानवाधिकारों के उल्लंघन के सबसे बड़े कारणों में से एक है। आतंकवाद को सहायता, समर्थन और बढ़ावा देने वालों के खिलाफ कार्रवाई करने और इस खतरे के लिए उन्हें जवाबदेह ठहराने का समय आ गया है। अन्यथा, इसका परिणाम लोकतांत्रिक प्रणाली को ठेस , धमकी,प्रतिशोध, समुदायों के बीच सद्भाव, स्वतंत्रता, समानता, बंधुत्व और आजीविका के अधिकार सहित विभिन्न मानवाधिकारों का गंभीर उल्लंघन हो सकता है। आयोग ने कहा, “ उम्मीद की जाती है कि प्रशासन जवाबदेही तय करने के लिए सभी आवश्यक कदम उठाएगा, अपराधियों को न्याय के दायरे में लाएगा और पीड़ित परिवारों को हर संभव तरीके से सहायता प्रदान करेगा।